बैडमिंटन वर्ल्ड फेडरेशन (Badminton World Federation) ने ओलंपिक रजत पदक विजेता पीवी सिंधु (PV Sindhu) और कनाडा की मिशेल ली (Michelle Li) को अंतर्राष्ट्रीय ओलंपिक समिति (International Olympic Committee) के लिए एथलीट एंबेसडर बनाया गया है।
इस अभियान का उद्देश्य बैडमिंटन मैचों में मैच फिक्सिंग और हेरफेर को रोकना है, जिसके लिए पीवी सिंधु और मिशेल ली खिलाड़ियों और उनकी टीमों के बीच जागरूकता बढ़ाने के लिए दुनिया भर के अन्य एथलीट एंबेसडर के साथ मिलकर काम करेंगे।
विश्व चैंपियन पीवी सिंधु ने कहा, “आईओसी द्वारा एक एंबेसडर के रूप में नामांकित किया जाना सम्मान की बात है। मैं अपने साथी एथलीटों के साथ किसी भी तरह की धोखाधड़ी या प्रतिस्पर्धा में हेरफेर के खिलाफ खड़ी हूं।”
जुलाई में शुरू होने वाले टोक्यो ओलंपिक से पहले दोनों बैडमिंटन सितारे ऑनलाइन वेबिनार और सोशल मीडिया माध्यम से खेल के अन्य एथलीटों के साथ डिजिटल रूप से जुड़ेंगे।
पीवी सिंधु और मिशेल ली उन बातों पर नज़र डालेंगे, जो खिलाड़ियों को मैच फिक्सिंग से रोकने में मदद करेगा और बैडमिंटन खिलाड़ियों को प्रतिस्पर्धा के दौरान किसी भी हेरफेर से बचने में मदद मिलेगी। इसके लिए वो उन्हें जागरूक करने का काम करेंगे।
पीवी सिंधु अपने एक ट्वीट में कहा, "मैच फिक्सिंग, मैच में होने वाली किसी भी तरह की हेराफेरी और डोपिंग खेल की भावना के विपरीत है।"
बैडमिंटन के मैच में हेराफेरी, ग्रुप मैच के अगले राउंड में एक आसान प्रतिद्वंद्वी से हारने या सट्टेबाजी के माध्यम से जानबूझकर हारने जैसे मामलों से निजात पाना है। एक मैच हारने के लिए अपने प्रतिद्वंद्वी को रिश्वत देना भी फिक्सिंग के तहत ही आता है।
बीडब्ल्यूएफ के महासचिव थॉमस लुंड ने कहा, "प्रतिस्पर्धा में हेराफेरी एक तेजी से बढ़ती हुई वैश्विक चिंता बन गई है और ईमानदार खिलाड़ियों की सुरक्षा करना बीडब्ल्यूएफ के लिए सर्वोच्च प्राथमिकता है।"
"हमारे दो सबसे लोकप्रिय खिलाड़ियों, सिंधु और ली को एंबेसडर के रूप में नामांकित करने से IOC से, हमें विश्वास है कि हम खेल में अखंडता की रक्षा के लिए इस लड़ाई में सकारात्मक प्रभाव डाल सकते हैं।"
BWF खिलाड़ियों, कोचों और बैडमिंटन में शामिल अन्य लोगों से किसी भी संदिग्ध व्यवहार की रिपोर्ट करने का आग्रह करता है जिससे नियमों का उल्लंघन हो सकता है।