साथियान गणानाशेखरन ने चेक ओपन टेबल टेनिस का खिताब अपने नाम किया
सेमीफाइनल में आगे बढ़ने के बाद साथियान ने सीधे गेम में जीता फाइनल, जहां उसके प्रतिद्वंद्वी को चोट के कारण पीछे हटना पड़ा।
बुधवार को ओलोमौक में ITTF चेक इंटरनेशनल ओपन में भारतीय टेबल टेनिस खिलाड़ी साथियान गणानाशेखरन (Sathiyan Gnanasekaran) ने पुरुष एकल का खिताब अपने नाम कर लिया, फाइनल में उन्होंने यूक्रेन के येवेन प्रिश्चेपा (Yevhen Pryschchepa) को हराया।
टूर्नामेंट में साथियान गणानाशेखरन शीर्ष वरीयता प्राप्त खिलाड़ी थे, उन्होंने अपना आखिरी मैच चौथी वरीयता प्राप्त यूक्रेन के येवेन प्रिश्चेपा के खिलाफ 4-0 (11-9, 11-6, 11-6, 14-12) से जीता।
रैंकिंग में 39वें नंबर के जी साथियान ने पहले तीन गेम में कंट्रोल रखा और इसके बाद उन्होंने आराम से दुनिया के 111वें नंबर के प्रिश्चेपा को पीछे छोड़ दिया।
तीन गेम गंवाने के बाद जब चौथे गेम की बारी आई तो प्रिश्चेपा ने अपनी सारी ताकत उसमें झोंक दी, लेकिन उन्हें भारतीय खिलाड़ी के खिलाफ कठिन चुनौतियों का सामना करना पड़ा। हालांकि, साथियान पांच अंकों से पिछड़ने के बाद वापस आए और मैच और खिताब जीतने के लिए 14-12 से मुकाबला जीत लिया।
इससे पहले भारतीय पैडलर ने दिन में स्वीडन के ट्रुल्स मोरगार्ड (Truls Moregard) को हराकर खिताबी जीत की तरफ कदम बढ़ाया।
पिछले हफ्ते WTT कंटेंडर बुडापेस्ट पुरुष एकल खिताब जीतने वाले 19 वर्षीय स्वीडिश खिलाड़ी के खिलाफ जी साथियान ने अच्छी शुरुआत की और पहला गेम 11-4 से अपने नाम किया।
जबकि दूसरे गेम में जी साथियान 9-8 की बढ़त के साथ आगे बढ़ रहे थे, इस दौरान ट्रुल्स मोरगार्ड को चोट लग गई, स्वीडिश पैडलर ने इंजरी टाइम-आउट लिया और टेबल पर लौट आए, लेकिन दूसरा गेम 11-8 से हार गए।
वर्तमान में मोरगार्ड विश्व में 78 नंबर के पैडलर है, तीसरे गेम में भी ठीक होने के लिए उन्होंने काफी संघर्ष किया, जी साथियान के साथ 8-2 से आगे बढ़ने के लिए उन्हें मैच रोकने के लिए कॉल करना पड़ा। इसी के साथ साथियान गणानाशेखरन को मैच में 4-0 (11-4, 11-8, 11-2, 11-0) से जीत हासिल हो गई। और उन्हें अपनी मेहनत का इनाम मिल गया।