आत्मविश्वास से लबरेज भारतीय गोल्फर उदयन माने टोक्यो में खेलने के लिए हैं तैयार

टोक्यो में समर ओलंपिक खेलों में अपने डेब्यू से पहले उदयन माने को लगता है कि ओलंपिक का दबाव असहनीय नहीं है। इससे निपटने के लिए वह टिप्स ले रहे हैं।

4 मिनटद्वारा सतीश त्रिपाठी
Udayan Mane.
(PGTI)

भारतीय गोल्फर उदयन माने (Udayan Mane) टोक्यो ओलंपिक में खेलने के लिए पूरी तरह तैयार हैं। जहां उन्होंने अभी हाल ही में ओलंपिक खेलों में अपनी जगह बनाई थी। वहीं, भारतीय गोल्फर उदयन माने ने Olympics.com से बात करते हुए कई बातों पर अपने विचार साझा किए। 

आपको बता दें कि 24 जून को अर्जेंटीना के गोल्फर एमिलियानो ग्रिलो (Emiliano Grillo) ने घोषणा की कि वह खेलों से बाहर हो गए हैं। जिसके बाद उदयन माने जो पहले से ही ग्रिलो के लिए रिजर्व में थे, उन्होंने ओलंपिक खेलों के लिए टिकट हासिल किया। जहां इसकी पुष्टि पिछले मंगलवार को हुई थी।

उदयन माने ने Olympics.com से बात करते हुए कहा, "आखिरकार, मुझे टूर्नामेंट में खेलने का मौका मिला।" बताते चलें कि उन्होंने आखिरी बार मार्च में एक प्रतिस्पर्धी टूर्नामेंट खेला था। जब उन्होंने प्रोफेशनल गोल्फ टूर ऑफ इंडिया (पीजीटीआई) पर दिल्ली-एनसीआर ओपन खिताब जीता था।

उन्होंने बात करते हुए आगे कहा, "ओलंपिक सर्वश्रेष्ठ खिलाड़ियों के साथ अब तक के सबसे बड़े टूर्नामेंटों में से एक है। ईमानदारी से कहूं तो मैं कभी-कभी नर्वस महसूस करता हूं लेकिन यह दुनिया भर के सर्वश्रेष्ठ खिलाड़ियों के साथ खेलने और कंधे से कंधा मिलाकर खेलने और जितना हो सके सीखने का मौका है।"

अनिबार्न को उदयन अपना बड़ा भाई मानते हैं

आपको बता दें कि टोक्यो ओलंपिक में उदयन माने के साथ उनके हमवतन अनिबार्न लाहिरी (Anirban Lahiri) भी खेलते नजर आएंगे। जिन्होंने रियो 2016 के बाद अपने दूसरे ओलंपिक के लिए क्वालीफाई किया है। वहीं, उदयन माने 34 वर्षीय अनिर्बान लाहिड़ी को अपना बड़ा भाई मानते हैं। बताते चलें कि दोनों एथलीट एक दूसरे को काफी लंबे समय से जानते हैं। जहां दोनों लोगों ने एक ही कोच के विजय दिवेचा नेतृत्व में ट्रेनिंग ली और पीजीटीआई टूर पर एक साथ खेले।

उदयन ने आगे कहा, "टोक्यो में मैं व्यक्तिगत रूप से केवल अनिर्बान को जानता हूं। मैं वहां पहले दो या तीन दिनों के अभ्यास के दौरान मुझे चलने के लिए उस पर निर्भर रहूंगा। उसके बाद, यह मेरे ऊपर है कि मैं कितना अच्छा करता हूं।"

टोक्यो जाने की खबर मिलने को लेकर उदयन ने कहा, "यह खबर मिलने के बाद से हम नियमित रूप से फोन पर हैं। मैंने ज्यादातर इस बारे में बात की कि क्या उम्मीद की जाए, माहौल कैसा होगा और बेहतर तैयारी कैसे की जाए।"

वहीं, टोक्यो ओलंपिक में अपने बेहतरीन प्रदर्शन के लिए उदयन माने लगातार अपनी प्रैक्टिस पर ध्यान केंद्रित किए हैं।

जापान में गोल्फ को लेकर क्या होंगी स्थितियां

जैसा कि आप जानते हैं कि टोक्यो ओलंपिक 2014 आइजनहावर ट्रॉफी के बाद जापान में उदयन माने की यह दूसरी यात्रा होगी। वहीं, उन्होंने इस दौरान साथी एथलीट राहिल गंगजी के साथ बातचीत की, जो जापान गोल्फ टूर पर खेल चुके हैं और वर्तमान में जापान में हैं। उन्होंने उदयन को माने को इस बारे में बताया कि कासुमीगासेकी कंट्री क्लब में स्थितियां कैसी हो सकती हैं, जहां गोल्फ प्रतियोगिता होती है।

उदयन माने ने कहा, "जापान में भारत की तरह ज्यादातर ट्री-लाइन कोर्स हैं, जिनमें पूरी तरह से मैनिक्योर्ड ग्रीन्स है और आप गोल्फ कोर्स में खेलना चाहते हैं। मुझे लगता है कि मैं अच्छी तरह से  अपने आपको ढाल सकता हूं।"

वहीं, उदयन माने को उम्मीद है कि रूपेश परदेसी अपना सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करेगा, लेकिन वह उम्मीद से पूरी तरह से बाहर है।

उदयन माने ने कहा, "मैं एशियाई खेलों और आइजनहावर ट्रॉफी में भारत के लिए खेल चुका हूं। इसलिए मैं देश के लिए खेलने के दबाव को जानता हूं। मैं इसके बारे में ज्यादा नहीं सोचता हूं। वहीं, दिन के आखिरी में सिर्फ ये ध्यान रखता हूं कि ओलंपिक सिर्फ कोई अन्य टूर्नामेंट है, जिसमें मैं अपना सर्वश्रेष्ठ देने की कोशिश करूंगा।"

आपको बताते चलें कि उदयन माने के लिए टोक्यो का सफर 23 जुलाई से शुरु होगा। जब वह परदेसी और कैडी चिक्करंगपा के साथ उड़ान भरेंगे, जो अनिर्बान लाहिड़ी के लिए कैडी (जो किसी खिलाड़ी के गोल्फ क्लब का बैग उठाता है) के तौर पर उपस्थित रहेंगे। वहीं, पुरुषों की गोल्फ प्रतियोगिता 29 जुलाई से शुरू होगी।