वो सब कुछ जो आपको रिफ्यूजी ओलंपिक टीम के बारे में जानना चाहिए

रिफ्यूजी ओलंपिक टीम क्या है? इसे क्यों और कब बनाया गया था? इसका मिशन क्या है? इसका हिस्सा कौन होगा? सभी सवालों का जवाब पाएं।

4 मिनटद्वारा लक्ष्य शर्मा
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रिफ्यूजी ओलंपिक टीम जुलाई 2021 में दूसरी बार ओलंपिक खेलों में हिस्सा लेगी,  क्योंकि टोक्यो 2020 खेल एक साल की देरी के बाद शुरू होंगे।

पहली बार इस टीम की घोषणा साल 2015 में हुई थी और साल 2016 के रियो ओलंपिक में इस टीम ने अपना डेब्यू किया था।

लगभग 29 एथलीट इस समर जापान में टीम का प्रतिनिधित्व करेंगे, जिससे दुनिया को रिफ्यूजी एथलीट्स के उस संकट के बारे में पता चलेगा, जो उन्हें कोरोना महामारी के समय झेलना पड़ा  और जो संघर्ष आज तक जारी है।

यहां रिफ्यूजी  ओलंपिक टीम के बारे में अक्सर पूछे जाने वाले कुछ प्रश्न दिए गए हैं और आपको इन सवालों के जवाब जरूर पता होने चाहिए।

रिफ्यूजी ओलंपिक टीम क्या है? इसका अस्तित्व क्यों है?

रिफ्यूजी के लिए संयुक्त राष्ट्र उच्चायुक्त (UNHCR) की परिभाषा के अनुसार, एक रिफ्यूजी "वह व्यक्ति है जिसे उत्पीड़न, युद्ध या हिंसा के कारण अपने देश से भागने के लिए मजबूर किया गया है।"

रिफ्यूजी ओलंपिक टीम और उसके एथलीट दुनिया भर के रिफ्यूजी के लिए आशा का प्रतीक हैं, जो वैश्विक ज्ञान और अंतरराष्ट्रीय रिफ्यूजी संकट के पैमाने पर ध्यान दिलाने की कोशिश कर रहे हैं।

पहली रिफ्यूजी टीम की घोषणा अक्टूबर 2015 में अंतर्राष्ट्रीय ओलंपिक समिति के अध्यक्ष थॉमस बाक द्वारा की गई थी।

मार्च 2016 में, आईओसी कार्यकारी बोर्ड ने संभावित एलीट वर्ग के एथलीटों की टीम बनाने पर सहमति दी, इनमें जो शरणार्थी संकट से प्रभावित थे उन्हें ओलंपिक खेलों में हिस्सा लेने का मौका दिया गया।

उस समय अध्यक्ष बाक ने कहा था कि "रियो ओलंपिक 2016 में शरणार्थी ओलंपिक एथलीटों की टीम का स्वागत करके हम दुनिया के सभी शरणार्थियों के लिए आशा का संदेश भेजना चाहते हैं।"

टोक्यो 2020 में, रिफ्यूजी ओलंपिक टीम को फ्रांसीसी संक्षिप्त नाम EOR (équipeolympique des réfugiés) से भी जाना जाएगा।

रिफ्यूजी ओलंपिक टीम की शुरुआत कैसे हुई?

साल 2016 में, आईओसी के कार्यकारी बोर्ड ने टीम के निर्माण को मंजूरी देने के बाद, रियो में ओलंपिक खेलों में भाग लेने के लिए 10 एथलीटों की अंतिम सूची से पहले 43 उम्मीदवारों को चुना गया था।

जिन एथलीटों पर विचार किया गया था, उन्हें यूएन रिफ्यूजी का दर्जा प्राप्त था।

जून 2016 में टीम की घोषणा के बाद आईओसी के अध्यक्ष बाक ने कहा, "यह हमारी दुनिया के सभी शरणार्थियों के लिए आशा का प्रतीक होगा और इस संकट की भयावहता के बारे में दुनिया को बेहतर तरीके से अवगत कराएगा।"

इसके अलावा उन्होंने कहा कि "यह अंतर्राष्ट्रीय समुदाय के लिए भी एक संकेत है कि रिफ्यूजी हमारे साथी इंसान हैं और समाज के लिए एक समृद्ध हैं। ये रिफ्यूजी एथलीट दुनिया को दिखाएंगे कि उन्होंने जिन अकल्पनीय त्रासदियों का सामना किया है, उनके बावजूद सभी अपनी प्रतिभा, कौशल और मानवीय भावना की ताकत के माध्यम से समाज में योगदान दे सकता है।"

पिछले ओलंपिक खेलों में रिफ्यूजी ओलंपिक टीम ने कैसा प्रदर्शन किया था?

दस एथलीट (दो तैराक, दो जूडो खिलाड़ी, एक मैराथनर और पांच ट्रैक एथलीट) ने रियो में रिफ्यूजी ओलंपिक टीम का प्रतिनिधित्व किया।

उनमें से दो पोपोल मिसेंगा और युसरा मर्दिनी ने हीट या प्रतियोगिता जीती।

टीम के समापन समारोह के ध्वजवाहक मिसेंगा ने अपने शुरुआती जूडो मुकाबले में अंडर-90 किग्रा वर्ग में पहला बाउट जीतने के साथ ही राउंड ऑफ 16 में जगह बनाई।

मर्दिनी ने अपनी 100 मीटर बटरफ्लाई हीट जीती लेकिन वह सेमीफाइनल से आगे नहीं बढ़ पाई। हालांकि, उनकी हीट जीत को व्यापक रूप से खेल की शक्ति के प्रदर्शन के रूप में मनाया गया।

रिफ्यूजी ओलंपिक टीम का हिस्सा कौन है?

साल 2021 में टोक्यो 2020 के लिए इस साल रिफ्यूजी ओलंपिक टीम में 29 एथलीट शामिल किए गए हैं।

टीम के अधिकांश सदस्य आईओसी रिफ्यूजी एथलीट स्कॉलरशिप द्वारा समर्थित हैं, जिसे 2016 में पहली रिफ्यूजी टीम की सफलता के बाद लॉन्च किया गया था।

विभिन्न मेजबान देशों में रहते हुए उन्हें संयुक्त राष्ट्र रिफ्यूजी का दर्जा भी प्राप्त है।

ये एथलीट पिछले कुछ वर्षों से ओलंपिक एकजुटता के समर्थन से टोक्यो 2020 में जगह बनाने की उम्मीद में प्रशिक्षण ले रहे हैं।

टोक्यो 2020 में रिफ्यूजी एथलीट 12 खेलों में भाग लेंगे: एथलेटिक्स, बैडमिंटन, बॉक्सिंग, कैनोइंग, साइकिलिंग (रोड़), जूडो, कराटे, शूटिंग, स्विमिंग, ताइक्वांडो, वेटलिफ्टिंग और कुश्ती

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