सॉफ्टबॉल बीजिंग ओलंपिक खेलों में आखिरी बार शामिल हुआ था, जिसके लगभग 13 साल बाद इस खेल ने जापान की राजधानी में वापसी की।
जहां दुनिया ने कुछ बेहतरीन टीमों के खिलाड़ियों को शानदार प्रदर्शन करते हुए देखा, जो विशेष रूप से टोक्यो में स्वर्ण हासिल करने के उद्देश्य से अपनी राष्ट्रीय टीमों में लौट रहे थे।
जापान ने इस खेल में वर्चस्व कायम किया, जबकि संयुक्त राज्य अमेरिका और कनाडा भी पदक जीतने में सफल रहे।
चलिए हम सबसे यादगार पलों पर एक नज़र डालते हैं, पदक विजेताओं का संक्षिप्त वर्णन के साथ आगे की संभावनाओं के बारे में बताते हैं।
टोक्यो 2020 सॉफ्टबॉल के 5 सबसे यादगार पल
1: जापान ने घरेलू मैदान पर बचाया खिताब
सॉफ्टबॉल जब 2020 ओलंपिक में वापस लौटा, तो जापान ने जीत हासिल करते हुए इसे बचाया।
घरेलू मैदान पर दुनिया की नंबर 2 टीम के पास अमेरिकी प्रतिद्वंद्वियों के खिलाफ 13 साल पहले वाले प्रदर्शन को दोहराने का मौका था। बता दें कि दोनों टीमें बीजिंग में फाइनल में भी आमने-सामने हुई थीं।
जहां अमेरिकी टीम ने अपना राउंड-रॉबिन गेम जीता, तो फाइनल में मेजबान जापान ने बाज़ी मारी और स्वर्ण पदक अपने नाम किया।
सॉफ्टबॉल की वापसी के लिए टोक्यो ओलंपिक एकदम सही जगह था। ये खेल जापान में अभी भी बहुत लोकप्रिय है।
लेकिन ये उन तीनों दिग्गज खिलाड़ियों के लिए भी फेयरवेल साबित हुआ, जो विशेष रूप से टोक्यो 2020 के लिए टीम में वापसी कर रही थीं।
2: यूएनओ युकिको की ओलंपिक विरासत
यूएनो युकिको, यमादा इरी और माइन युकियो 13 साल पहले भी जापान की टीम में शामिल थीं, जिन्होंने टोक्यो 2020 के लिए नेशनल टीम में वापसी का फैसला किया।
बीजिंग 2008 में, यूएनो ने पूरे टूर्नामेंट में शानदार प्रदर्शन किया, जहां उन्होंने खेलों की 413वीं पिच पर स्वर्ण पदक हासिल किया।
इस समर ओलंपिक खेलों में वापसी करते हुए उन्होंने कहा कि उनकी 'प्रेरणाएं नहीं बदली हैं' और वो 'तैयार' थीं।
यूएनो ने अपनी बात साबित की और जापान को टूर्नामेंट का स्वर्ण पदक दिला दिया।
जापानी सॉफ्टबॉल में यूएनो को हमेशा एक दिग्गज के रूप में याद किया जाता था, लेकिन टोक्यो 2020 ने बस उस विरासत को मजबूत करने में मदद की।
3: यूएसए और जापान की प्रतिद्वंद्विता
संयुक्त राज्य अमेरिका बनाम जापान।
ये सॉफ्टबॉल के इतिहास की सबसे बड़ी प्रतिद्वंद्विता में से एक है।
दोनों टीमें विश्व रैंकिंग में नंबर 1 और नंबर 2 पर हैं।
मुक़ाबले में कौन हारता है और कौन जीतता है उससे कोई फर्क नहीं पड़ता, दोनों देश हमेशा सर्वश्रेष्ठ होने के लिए संघर्ष करते रहे हैं।
टोक्यो 2020 ने इस प्रतिद्वंद्विता को वैश्विक रूप देखा और दोनों टीमें एक बार फिर से स्वर्ण पदक जीतने के लिए फाइनल में पहुंचीं।
हालांकि फाइनल में अमेरिका ने कोई कसर नहीं छोड़ी, लेकिन जापान ने घरेलू मैदान पर स्वर्ण पदक जीत लिया। ये अगली पीढ़ी के सॉफ्टबॉल खिलाड़ियों को प्रेरित करने के लिए एक शानदार मुक़ाबला था।
4: कनाडा ने रचा इतिहास
बीजिंग 2008 में कनाडा की सॉफ्टबॉल टीम चौथे स्थान पर रही थी और वो ओलंपिक में उनका सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन भी था।
लेकिन दुनिया में तीसरे नंबर की टीम जब टोक्यो ओलंपिक खेलों में पहुंची, तो उन्होंने इतिहास रच दिया।
अपने शुरुआती दौर के मुकाबलों में तीन जीत और दो गेम हारने के बाद कनाडा को कांस्य पदक मैच में मेक्सिको के साथ दो-दो हाथ करना था।
दोनों टीमों के बीच एक रोमांचक मुकाबला देखने को मिला और अंत में कनाडा ने 3-2 से मुक़ाबला अपने नाम कर इतिहास रच दिया।
कनाडा ने पहली बार इस खेल में ओलंपिक पदक जीता, इस तरह कांस्य के साथ कनाडा घर लौटी।
5: पिच पर प्रतिद्वंद्वी, पिच से बाहर मंगेतर
टोक्यो ओलंपिक खेल कई मायनों में ऐतिहासिक रहे हैं।
LGBTQ (Lesbian, Gay, Bisexual, Transgender and Queer or Questioning) समुदाय के 179 एथलीटों ने इन खेलों में भाग लिया, जो रियो (56) की तुलना में काफी अधिक है।
इस समुदाय के एथलीटों ने सॉफ्टबॉल में भी भाग लिया, अमांडा चिडेस्टर (USA) और अनीसा उर्टेज़ (Maxico) ने टोक्यो में अपने अपने देशों का प्रतिनिधित्व किया।
भले ही ये जोड़ी आपसी रिश्तें की डोर से बंधी हो, लेकिन जब मैदान पर उतरते हैं, तो प्रतिद्वंद्वी बन जाते हैं।
चिडेस्टर ने इंस्टाग्राम पर लिखा, "हम जानते हैं कि हमारी एक साथ अपनी अलग ही पहचान है, और जीत या हार से उस रिश्ते पर कोई फर्क नहीं पड़ता।"
"जब हम विरोधियों के रूप में मैदान पर कदम रखते हैं, तो हम रिश्ते को नहीं देखते हैं।"
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हालांकि ज्यादातर फैंस का ध्यान जापान और संयुक्त राज्य अमेरिका पर था, वो देखना चाहते थे कि किया मेजबान दुनिया की सर्वश्रेष्ठ रैंक वाली टीम पर दोहरी जीत हासिल करेगी या संयुक्त राज्य अमेरिका खिताब पर कब्जा कर लेगा। दोनों टीमों ने पूरे टूर्नामेंट में शानदार प्रदर्शन किया।
दोनों कांस्य पदक प्रतिद्वंद्वी - मेक्सिको और कनाडा की टीमों ने दिखाया कि दोनों पिछले 13 सालों में कितना बेहतर हो गए हैं।
जहां कनाडा ने बीजिंग में किए अपने प्रदर्शन को बेहतर किया और चौथे से तीसरे स्थान पर पहुंचे, तो जापान और संयुक्त राज्य अमेरिका एक-एक गेम हारने के बाद पहला और दूसरा स्थान हासिल किया।
मेक्सिको ने टोक्यो में अपना ओलंपिक पदार्पण किया और पदक जीतने के करीब पहुंचकर अपने हौसले का परिचय दिया।
सॉफ्टबॉल टीमें अब कब प्रतिस्पर्धा करती नज़र आएंगी?
एक रोमांचक ओलंपिक मुकाबले के बाद, इनमें से कई टीमें 2022 में एक बार फिर आमने-सामने होंगी।
हालांकि, इस बार संयुक्त राज्य अमेरिका में वर्ल्ड गेम्स आयोजित होंगे।
ये 17वें महिला सॉफ्टबॉल विश्व कप के लिए क्वालीफाइंग इवेंट होगा, जो 2023 (ग्रुप स्टेज) और 2024 (फाइनल) में होगा।
हालांकि, टोक्यो 2020 में अतिरिक्त खेल के रूप में शामिल होने वाला सॉफ्टबॉल पेरिस 2024 में नहीं दिखेगा।
लॉस एंजेलिस 2028 और ब्रिस्बेन 2032 ओलंपिक खेलों में सॉफ्टबॉल जल्द ही ओलंपिक इवेंट में वापसी कर सकता है।
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टोक्यो 2020 सॉफ्टबॉल की पूरी पदक सूची
स्वर्ण: जापान
रजत: संयुक्त राज्य अमेरिका
कांस्य: कनाडा